अधिकारियों व कर्मचारियों को समय-समय पर जरूरी दवाएं उपलब्ध कराई जाएं: डीएम
हमीरपुर। जनपद में कोविड-19 के प्रभावी नियंत्रण हेतु वरिष्ठ अधिकारियों के साथ एक आवश्यक बैठक जिलाधिकारी डा. ज्ञानेश्वर त्रिपाठी की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट में संपन्न हुई। बैठक में जिलाधिकारी ने कहा कि चिकित्सा विभाग द्वारा अधिक से अधिक रैपिड रिस्पांस टीम एवं टेस्टिंग टीम का गठन आज ही कर लिया जाए।
प्रत्येक रैपिड रिस्पांस टीम (आरआरटी) में एक डाक्टर अनिवार्य रूप से रहे, जो टीम लीडर की भूमिका के तौर पर होंगे। आरआरटी टीम तथा टेस्टिंग टीम शहरी के साथ साथ ग्रामीण क्षेत्रों में भी जाकर एंटीजन, आरटीपीसीआर के माध्यम से अधिक से अधिक कोविड-19 की सैम्पलिंग करें तथा पांजिटिव पाए गए मरीज को तत्काल एडमिट, होम आइसोलेट कर उसकी शत-प्रतिशत कांटेक्ट ट्रेसिंग कर सैंपलिंग करें। पांजिटिव पाए गए मरीजों को जरूरी दवाएं एवं परामर्श भी देंगे।
जिलाधिकारी ने कहा कि कांस्टैक्ट में पाए गए लक्षणयुक्त एवं लक्षणविहीन व्यक्तियों की लिस्टिंग अवश्य कर ली जाए तथा उन्हें तत्काल जरूरी दवा उपलब्ध करा कर उनको दवाओं के सेवन हेतु प्रोत्साहित किया जाए।
उन्होंने कहा कि पूरी टीम अपनी पूरी तैयारी के साथ एवं पूरी सक्रियता के साथ कार्य कर प्रत्येक दशा में जनपद में कोविड-19 के संक्रमण को समाप्त किया जाए। उन्होंने कहा कि उपलब्ध मैन पावर का दक्षतम प्रयोग किया जाए। इस हेतु होम्योपैथिक, आयुष आदि डाक्टरों, पैरामेडिकल स्टाफ का भी सहयोग लिया जाए।
उन्होंने जनपद की कोविड जांच के प्रतिदिन के लक्ष्य को बढ़ाते हुए प्रतिदिन एंटीजन टेस्ट को 800 से बढ़ाकर 1200, आरटीपीसीआर 600 से बढ़ाकर 900, इस प्रकार कुल जांच 1400 से बढ़ाकर 2100 प्रतिदिन करते हुए कहा कि प्रतिदिन लक्ष्य को हर हाल में प्राप्त किया जाए इसमें कोई कोताही न बरती जाए। उन्होनें कहा कि सभी सीएचसी, पीएचसी एवं जिला अस्पताल में कोविड-19 की जांच की व्यवस्था पूर्व की भांति चलती रहे।
सैंपल लेने में कोई लापरवाही ना बरतें, सैंपल समुचित तरीके से लिया जाए। ताकि खराब ना होने पाए। जिलाधिकारी ने कहा कि सभी अधिकारियों कर्मचारियों को भी समय-समय पर जरूरी दवाएं उपलब्ध कराई जाएं। पांजिटिव पाए गए लोगों के परिवार वालों को कोविड के खतरों के बारे में आगाह किया जाए।
जिलाधिकारी ने एक महत्वपूर्ण जानकारी देते हुए बताया कि अब होम आइसोलेशन वाले मरीजों को भी आवश्यकतानुसार डाक्टरों की देखरेख में आंक्सीजन उपलब्ध कराई जा सकेगी, किंतु होम आइसोलेशन वाले मरीजों को आंक्सीजन की आपूर्ति तभी की जाएगी। जब जनपद के कोविड अस्पताल में बेड उपलब्ध नहीं होंगे। वर्तमान में जनपद में कोविड के पर्याप्त मात्रा में बेड उपलब्ध हैं।
उन्होंने कहा कि होम आइसोलेशन वाले मरीजों को आंक्सीजन उपलब्ध कराने की पूरी तैयारी रखी जाए, इसके लिए मौदहा, राठ व सुमेरपुर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में न्यूनतम 10-10 सिलेंडर चिन्हित कर लिया जाए। जरूरत के समय होम आइसोलेशन वाले मरीजों को सिलेंडर सहित आंक्सीजन उपलब्ध कराई जाएगी। अतः इसकी पूरी व्यवस्था रखी जाए।
उन्होनें कहा कि एसडीएम, तहसीलदार से लेकर कानूनगो, बीडीओ आदि सभी अधिकारियों द्वारा क्षेत्र में निकलकर कोविड-19 के हालातों पर नजर रखी जाए तथा उसके संबंध में नियमित रूप से रिपोर्टिंग की जाए।
उन्होनें कहा कि अस्पतालों में रेमडेसीविर सहित अन्य जरूरी इंजेक्शन, दवा आदि की पर्याप्त व्यवस्था रखी जाए तथा आंक्सीजन की उपलब्धता बनाए रखी जाए। जनपद के अस्पतालों में इंफ्रास्ट्रक्चर का विकास कर अस्पतालों को सुदृढ़ किया जाए।
कोविड-19 के प्रभावी नियंत्रण के दृष्टिगत अधिकाधिक जांच की जाए तथा कांटेक्ट ट्रेसिंग की जाए। पांजिटिव पाए जाने पर तत्काल मरीजों को अस्पताल में एडमिट कराया जाए, होम कोरेंटिन वाले शत प्रतिशत मरीजों को मेडिकल किट उपलब्ध कराई जाए।
इस मौके पर मुख्य विकास अधिकारी कमलेश कुमार वैश्य, अपर जिलाधिकारी वित्त/राजस्व विनय प्रकाश श्रीवास्तव, अपर जिलाधिकारी नमामि गंगे राजेश कुमार यादव, सीएमओ डा. आरके सचान, एसीएमओ डा. एमके वल्लभ तथा अन्य संबंधित मौजूद रहे।