सात रोजगार सेवकों पर लटकी कार्रवाई की तलवार
बांदा,संवाददाता। उपायुक्त श्रम रोजगार, संयुक्त जिला कार्यक्रम समन्वयक राघवेंद्र तिवारी ने मनरेगा कार्यों में रुचि न लेने वाले सात रोजगार सेवकों की ‘नो पे, नो वर्क’ के आधार पर सेवा समाप्ति की कार्रवाई करने के आदेश दिए।
खंड विकास अधिकारियों को भेजे गए आदेशों में कहा कि ग्राम पंचायतों में मनरेगा के अंतर्गत अधिक से अधिक श्रमिकों को रोजगार उपलब्ध कराने व अधिक कार्यों को शुरू कराकर मनरेगा में अपेक्षित प्रगति के निर्देश दिए गए थे।
पांच लाख अतिनिर्धन परिवारों की आजीविका को सुदृढ़ करने के लिए लक्ष्य के सापेक्ष श्रमिकों का यूजर में पंजीकरण किया जाना है, लेकिन निर्देशों के बाद भी ग्राम पंचायत सचिव इस कार्य में रुचि नहीं ले रही है।
समीक्षा में पाया गया है कि ग्राम रोजगार सेवक अभिलाषा (बिछवाही), मोनिका (निवाइच), रामनरेश (परसौड़ा), श्रीकांत (खप्टिहा कलां), अंबरीश (छिरंहुटा), राजकरन (अलोना), रामबाबू (साड़ी) द्वारा पंजीयन का काम अभी तक शुरू नहीं किया गया है।
प्रगति संतोषजनक न होने पर शासन ने कड़ी नाराजगी जाहिर की है। इसमें कार्रवाई के आदेश दिए हैं।
संबंधित बीडीओ इनके कार्यों का परीक्षण कर लें कि गांव में रहकर अपने दायित्वों व मनरेगा के अन्य कार्यों में रुचि ले रहे है या नहीं। लापरवाही प्रमाणित होने पर ‘नो पे-नो वर्क’ के आधार पर सेवा समाप्ति की कार्यवाई की जाए।