उत्तराखंड के पहाड़ी इलाकों में जमकर बर्फबारी, मैदानी क्षेत्रों का लुढ़का तापमान, IMD ने बारिश को लेकर अलर्ट किया जारी
उत्तराखंड में गुरुवार को पूरे प्रदेश में झमाझम बारिश हुई। जबकि ऊंचाई वाले पर्वतीय इलाकों में जमकर बर्फबारी हुई। गढ़वाल के हर्षिल से लेकर कुमाऊं के मुनस्यारी तक पहाड़ियों ने बर्फ की सफेद चादर ओढ़ ली। हिल स्टेशनों पर पर्यटक बर्फबारी का आनंद उठाते नजर आए। मौसम विभाग के मुताबिक पांच फरवरी तक प्रदेश में बारिश और बर्फबारी होने की संभावना है।
पर्यटक स्थल मसूरी में भी सीजन का पहला हिमपात हुआ। रुद्रप्रयाग में केदारनाथ, मद्महेश्वर, तुंगनाथ, चंद्रशिला, कार्तिक स्वामी समेत विभिन्न क्षेत्र में भारी बर्फबारी हुई। चोपता, दुग्गलबिट्टा में करीब डेढ़ फीट बर्फ गिरी।
उत्तरकाशी में हर्षिल, धराली, सुक्की, यमुनोत्री, सांकरी, सुक्की टॉप बर्फ से लकदक हो चुके हैं। चमोली में बदरीनाथ, औली, हेमकुंड साहिब, रुद्रनाथ बर्फ से ढके हैं। मसूरी, लालटिब्बा, नाग टिब्बा और सुरकंडा, धनोल्टी में पर्यटकों ने बर्फबारी का लुत्फ उठाया।
कुमाऊं के पहाड़ी क्षेत्र में करीब 50 दिनों के लंबे अंतराल के बाद बारिश हुई। पिथौरागढ़ में भारत-चीन सीमा से लगे इलाकों के साथ ही मुनस्यारी में सीजन की पहली बर्फबारी हुई। बागेश्वर के कपकोट क्षेत्र में ऊंचाई वाले क्षेत्रों में भी हिमपात हुआ हुई है।
उत्तराखंड में बारिश और बर्फ लंबे इंतजार के बाद आखिरकार मेहरबान हो ही गए। बुधवार देर रात से जारी रिमझिम बारिश के साथ ही प्रदेश के अधिकांश ऊंचाई वाले इलाकों में केदारनाथ, बदरीनाथ, हेमकुंड साहिब, तुंगनाथ, रुद्रनाथ आदि में पहाड़ियों ने बर्फ की चादर ओढ़ ली।
रुद्रप्रयाग में केदारनाथ, मद्महेश्वर, तुंगनाथ, चंद्रशिला, चोपता दुग्गलवीटा, कार्तिक स्वामी समेत विभिन्न क्षेत्र में भारी बर्फवारी हुई। चोपता, दुग्गलबिट्टा में करीब डेढ़ फीट बर्फ गिरी। उत्तरकाशी में भी हर्षिल, थराली, सुक्की, नचिकेता ताल, राडी टॉप, चौरंगीखाल, यमुनोत्री, सांकरी, सुक्की टॉप बर्फ से लकदक हो चुके हैं। चमोली में भी बर्फबारी का यही हाल है। बद्रीनाथ, औली, हेमकुंड साहिब, रुद्रनाथ बर्फ से ढके हुए हैं।
किसान-बागवानों के चेहरे खिले
बारिश और बर्फबारी की वजह से किसानों के चेहरे खिल उठे हैं। दिसंबर से बारिश और बर्फबारी का इंतजार कर रहे किसानों की मुराद गुरुवार को जाकर पूरी हुई। समय पर बारिश-बर्फबारी न होने से फसलों को हुए नुकसान की काफी कुछ भरपाई होने की उम्मीद है।
उद्यान विभाग के पूर्व निदेशक बीर सिंह नेगी बताते हैं कि दिसंबर से जनवरी के दौरान सेब, नाशपाती, पुलम आदि प्रजाति के फलों को काफी ठंडा माहौल चाहिए होता है। इन्हें पूरी तरह से खिलने के लिए एक निश्चित ठंडा वातावरण अनिवार्य है। बहरहाल,आज की बर्फबारी और बारिश से भी फल-सब्जियों को पनपने में मदद मिलेगी।
उत्तराखंड में पांच फरवरी तक बारिश-बर्फबारी
उत्तराखंड में गुरुवार को पहाड़ों में जमकर बर्फबारी और मैदानों में झमाझम बारिश हुई। मौसम विभाग के मुताबिक पांच फरवरी तक प्रदेश में बारिश और बर्फबारी होने की संभावना है। मौसम को लेकर अलर्ट भी जारी किया गया है।
मौसम विभाग के निदेशक डॉ. बिक्रम सिंह ने बताया कि उत्तरकाशी, चमोली, रुद्रप्रयाग, बागेश्वर, पिथौरागढ़ जिलों में तीन हजार मीटर या उससे ज्यादा ऊंचाई वाले इलाकों में बर्फबारी की संभावना है। मैदानी इलाकों में भी बारिश हो सकती है। दो से पांच फरवरी तक पूरे प्रदेश में हल्की से मध्यम बारिश, बर्फबारी हो सकती है।