मुंबई : राजनीतिक फंडिंग के मामले में आईटी विभाग की 8 जगहों पर छापेमारी

मुंबई : राजनीतिक फंडिंग के मामले आयकर विभाग ने बड़ी कार्रवाई की है. आईटी विभाग ने इस मामले में मुंबई में 8 ठिकानों पर छापेमारी की है. जो लोग छोटी-छोटी राजनीतिक पार्टियों को डोनेशन दे कर उनसे कैश लेते थे, उनके यहां छापेमारी चल रही है. यह दो हजार करोड़ रुपये के टैक्स चोरी का मामला है. इस मामले में 87 छोटी-छोटी राजनीतिक पार्टिया पर पूरे देश में छापेमारी हुई है. दरअसल, चुनाव आयोग ने रजिस्ट्रड अनाधिकृत राजनीतिक पार्टियों की जानकारी आईटी विभाग को दी थी. इसमें ये राजनीतिक पार्टियां चार से पांच प्रतिशत कमीशन लेकर डोनेशन को कैश में बदल देती थी. इस मामले में आईटी विभाग के रडार पर कुछ चार्टर्ड अकाउंटेंट भी हैं.

चुनाव आयोग ने जून में सीबीडीटी को पत्र लिखकर ऐसी 11 छोटी-छोटी राजनीतिक पार्टियों की सूची सौंपी थी. पत्र में इन राजनीतिक पार्टियों द्वारा फंडिंग में दुरुपयोग की शिकायत की गई थी. ये पार्टियों फंड के नाम पर गलत तरीके से मोटी रकम इक्क्ठा करती थी. इसी साल निर्वाचन आयोग ऐसी पार्टियों पंजीकरण रद्द करने का आदेश दिया था. ये पार्टियां पंजीकृत तो थीं लेकिन अस्तित्व में नहीं थीं. कार्रवाई में जब उनके पतों पर भेजी गई डाक वापस आ गई. ये पार्टियां अवैध तरीके से डोनेशन ले रही थीं और उसमें गड़बड़ी कर रही थीं. ऐसी पार्टियों की वित्तीय जांच करने के लिए कहा गया था. इसी को आधार बनाकर आईटी विभाग देश के विभिन्न भागों में छापेमारी कर रहाहै. आईटी विभाग ऐसी पार्टियों के एंट्री ऑपरेटरों पर भी छापेमारी कर रहा है.

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आयकर विभाग ने सायन इलाके में एक झोपड़पट्टी पर भी छापेमारी की है. इनके अलावा महाराष्ट्र के ही औरंगाबाद में भी लगातार दूसरे दिन छापेमारी शुरू है. मिड डे मील डिलिवरी करने वाले व्यापारी सतीश व्यास नाम के घर, कार्यालय और होटल पर छापेमारी की जा रही है. राजस्थान के स्कूलों में मिड डे मील से जुड़े स्कैम का लिंक औरंगाबाद से माना जा रहा है. राजनीतिक फंडिंग के मामले कल दिल्ली, राजस्थान, उत्तराखंड, महाराष्ट्र, बेंगलुरु में इनकम टैक्स की रेड चली थी. आईटी ने देशभर के 100 से ज्यादा ठिकानों पर छापेमारी की है.

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