पार्टनर के साथ क्वालिटी टाइम बिताना हो, तो अंडमान है परफेक्ट डेस्टिनेशन

वैलेंटाइन डे के मौके पर अपने पार्टनर के संग कुछ दिन अकेले में बिताने की सोच रहे हैं तो उनके साथ कहीं घूमने का प्लान बनाएं। जिससे क्वालिटी टाइम मिलने के साथ ही आपका दोनों का मूड और माइंड भी फ्रेश हो जाएगा। वैसे तो ऐसी कई सारी जगहें हैं जो खासतौर से रोमांटिक डेस्टिनेशन के तौर पर जानी जाती हैं लेकिन इनमें से ज्यादातर जगहों पर वैलेंटाइन डे के मौके पर भीड़-भाड़ नजर आती है। तो क्यों ऐसे डेस्टिनेशन पर जाएं जो भीड़ से दूर, खूबसूरत होने के साथ रोमांस का मजा भी दोगुना कर दें। अंडमान ऐसे ही डेस्टिनेशन्स में से एक है।  

अंडमान के द्वीपों पर रोमांस का अपना अलग ही मजा है। उत्तर भारत के शहरों से काफी दूर हैं अंडमान द्वीप समूह। पोर्टब्लेयर तक हवाई सफर के बाद अंडमान के कितने ही द्वीपों में निकल जाने के रास्ते खुलते हैं। हैवलॉक द्वीप पर पहुंचकर आपको लगेगा जैसे एक अलग ही दुनिया में पहुंच गए हैं। एक तो इन ठिकानों पर पहुंचना ही अपने आप में रूमानी अनुभव है, उस पर वहां पहुंच जाना भी आपको अलग दुनिया में ले जाएगा। हैवलॉक के राधानगर बीच का अद्भुत सौंदर्य और उस तट से झांकता सूर्यास्त का नजारा आपको अपने प्रिय के संग कहीं दूर निकल जाने का निमंत्रण देगा। एकाध दिन इस द्वीप पर गुजारने के बाद नील आइलैंड की फेरी पकड़ें। 

रोमांस की डगर एडवेंचर से होकर 

यहां जिंदगी थमी-थमी, खर्रामा -खर्रामा सी दिखती है। अलबत्ता, समंदर के नीचे चले जाएं तो शायद दूसरी दुनिया के सिरे तक पहुंचकर भी हैरानगी खत्म नहीं होगी! अगर आपके लिए रोमांस की डगर एडवेंचर से होकर गुजरती है तो अंडमान के द्वीपों पर स्कूबा या स्नॉर्कलिंग का ख्याल कैसा रहेगा? एडवेंचर की पाठशाला में अपने प्रिय के साथ दिन गुजारें और अपने रोमांस को नया मुलम्मा चढ़ाएं। यहां आपको कई डाइविंग साइटें मिल जाएंगी।

नील द्वीप की खूबसूरती

बंगाल की खाड़ी का ठट्टे मारता समंदर और उस पर उगते-झुकते सूरज का नजारा आपकी यादों में हमेशा के लिए घुसपैठ कर चुका होगा। नील द्वीप तो बमुश्किल 19 वर्ग किमी. क्षेत्रफल में फैला है और इसकी अधिकतम चौड़ाई शायद 5 किमी. होगी। अगर आप अपने साथ टिश्यू, सन ब्लॉक, टैल्कम, छाता, टूथपेस्ट, ब्रश यानी कि रोज की जरूरत का कुछ भी सामान लाना भूल गए हैं तो फिक्र की कोई बात नहीं है, जेटी से सीधे मार्केट पहुंचिए, जो खरीदना हो खरीदें और फिर साउथ इंडियन, नॉर्थ इंडियन, इजराइली , जर्मन यानी जो भी पसंद हो वह नाश्ता-भोजन यहां बेहद सस्ते में उपलब्ध है।

सुबह सवेरे जरा जल्दी उठकर सीतापुर तट से सूर्यास्त का नजारा करने के बाद अपना दिन शुरू किया जा सकता है। दोपहर से पहले समंदर के दूसरी तरफ पहुंच जाइए, जहां नेचुरल ब्रिज है और लो टाइड के चलते समंदर अपने पूरे राज जैसे यहां उगल जाता है। समंदर का पानी यहां से उतरते ही मैरीन लाइफ की जैसे प्रदर्शनी लग जाती है। टुक-टुक की सवारी तय कर लीजिए और इस नन्हे से द्वीप के हर राज से बावस्ता हो जाइए। और हां, यह बताना तो हम भूल ही गए कि नील ने अपने सीने में अभी और भी बहुत से हैरतंगेज अनुभवों को छिपा रखा है। वॉटर स्पो‌र्ट्स के लिए ये टापू हैवलॉक को भी पीछे छोड़ देता है। सूर्यास्त के लिए लक्ष्मणपुर तट का रुख करें। इस तट पर रौनक भी होती है।
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