MP के ग्वालियर में पातालकोट एक्सप्रेस ट्रेन में पुलिस ने 18 यात्रियों को किया गिरफ्तार, जानिए पूरा मामला…

मध्य प्रदेश के ग्वालियर में देर रात पातालकोट एक्सप्रेस ट्रेन में पुलिस ने 18 यात्रियों को पकड़ा है। ये सभी लोग गरीब मजदूर वर्ग के हैं। इन्हें कुछ लोगों ने लालच दिया था कि यदि वे ईसाई धर्म अपना लेंगे, तो उन्हें एक-एक लाख रुपए मिलेंगे। साथ ही, उनके बच्चों को क्रिश्चियन स्कूल में पढ़ाया जाएगा और उन्हें विदेश में नौकरी करने का मौका मिलेगा। इसी लालच में छिंदवाड़ा से बड़ी संख्या में लोग इस गिरोह के साथ पातालकोट एक्सप्रेस ट्रेन से पंजाब की ओर रवाना हुए थे।

हालांकि, पुलिस को सूचना मिलते ही घेराबंदी कर दी गई। सबसे पहले विदिशा के गंजबासौदा में ट्रेन को रोककर 11 यात्रियों को उतार लिया गया। इसके बाद बीना स्टेशन पर 4 यात्रियों को सुरक्षित बचाया गया। यहां यह पता चला कि कोच एस-1 में तीन यात्री और हैं। इसके बाद, ग्वालियर रेलवे स्टेशन पर पातालकोट एक्सप्रेस को 30 मिनट तक रोककर सघन जांच की गई, जिसके बाद तीन यात्रियों को पकड़ा गया। ग्वालियर जीआरपी ने इन तीनों को गंजबासौदा पुलिस के हवाले कर दिया।

ग्वालियर जीआरपी पुलिस के मुताबिक बजरंग दल के पदाधिकारियों ने सूचना दी थी कि मध्यप्रदेश के छिंदवाड़ा से बड़ी संख्या में गरीब और मजदूर वर्ग के लोगों को धर्मांतरण के लिए पंजाब के जालंधर चर्च ले जाया जा रहा है। वहां इन लोगों को पैसों का प्रलोभन देकर धर्म परिवर्तन कराया जाएगा।सूचना देने वालों ने बताया कि छिंदवाड़ा के सेजनाथ सूर्यवंशी और विजय कुमार इन लोगों को लेकर पातालकोट एक्सप्रेस ट्रेन में सवार हैं।

पकड़े गए यात्रियों ने पुलिस को बताया कि सेजनाथ और विजय कुमार कुछ महीने पहले उनसे मिले थे। उन्होंने बताया था कि ईसाई धर्म अपनाने पर उन्हें कई फायदे होंगे, एक लाख रुपए मिलेंगे, उनके बच्चों को अच्छे स्कूल में पढ़ाया जाएगा और वे विदेश जाने का अवसर पा सकेंगे।यही लोग उन्हें जालंधर, पंजाब के चर्च में ले जा रहे थे।

आरोपियों ने यह भी बताया कि इससे पहले उन्हें फिरोजपुर के चर्च भी ले जाया जा चुका है। इस मामले में ग्वालियर जीआरपी ने बताया कि पकड़े गए तीनों यात्रियों को गंजबासौदा जीआरपी को सौंप दिया गया है। पुलिस इस मामले में आगे की जांच कर रही है।

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