मुंबई के होटल में शख्स ने फांसी लगाकर की आत्महत्या, सुसाइड नोट हुआ बरामद

अब मुंबई में अतुल सुभाष जैसा मामला सामने आया है। यहां एक 41 वर्षीय शख्स ने अपनी पत्नी से प्रताड़ित होने के बाद खुदकुशी कर ली है। शख्स ने अपनी पत्नी और उसकी मौसी को अपनी आत्महत्या का जिम्मेदार बताया। पुलिस ने मृतक शख्स की मां की शिकायत पर मामला दर्ज कर लिया है। मगर अभी तक किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई है।

होटल में फांसी लगा जान दी

पत्नी से परेशान होकर आत्महत्या करने वाले 41 वर्षीय व्यक्ति की पहचान निशांत त्रिपाठी के तौर पर हुई। आत्महत्या से पहले निशांत ने अपनी कंपनी की वेबसाइट पर सुसाइड नोट अपलोड किया था। इसके बाद शुक्रवार को मुंबई स्थित सहारा होटल में फंदा लगाकर जान दे दी। पुलिस के मुताबिक निशांत ने तीन दिन पहले होटल में चेक इन किया था। खौफनाक कदम उठाने से पहले निशांत ने होटल में ‘डू नॉट डिस्टर्ब’ साइन का इस्तेमाल किया था।

मां की शिकायत पर केस दर्ज

पुलिस के मुताबिक कमरे से कोई प्रतिक्रिया नहीं आने पर होटल के स्टाफ ने मास्टर चाबी से कमरे को खोला तो निशांत फांसी पर लटका मिला। इसके बाद होटल ने तुरंत मामले की जानकारी पुलिस को दी। पुलिस ने बताया कि निशांत ने अपनी कंपनी की वेबसाइट पर सुसाइड नोट अपलोड किया है। इसे पासवर्ड से सुरक्षित रखा है। महिला अधिकार कार्यकर्ता और निशांत की मां नीलम चतुर्वेदी की शिकायत पर पुलिस ने अपूर्वा पारिख और उनकी मौसी प्रार्थना मिश्रा के खिलाफ आत्महत्या के लिए उकसाने के आरोप में मामला दर्ज किया है।

जब तक पढ़ोगी… तब तक मैं चला जाऊंगा

निशांत ने अपने सुसाइड नोट में अपनी पत्नी को भले ही जिम्मेदार ठहराया। मगर उसके प्रति प्यार का इजहार भी किया है। निशांत ने लिखा, “जब तक तुम इसे पढ़ोगी तब तक मैं चला जाऊंगा। अपने आखिरी पलों में मैं आपसे हर उस चीज के लिए नफरत कर सकता हूं.. जो हुईं। मगर मैंने आखिरी पलों के लिए प्यार को चुना। मैंने तब भी तुमसे प्यार किया था। अब भी तुमसे प्यार करता हूं और यह खत्म नहीं होगा।”

मां जानती हैं… मौत के लिए कौन जिम्मेदार

निशांत ने आगे लिखा कि मेरी मां जानती हैं कि मेरी मौत के लिए आप और प्रार्थना मौसी जिम्मेदार हैं। मैं आपसे विनती करता हूं कि अब उनसे संपर्क न रखें। वह काफी टूट चुकी हैं। उन्हें शांति से शोक मनाने दें। निशांत की मां ने भी एक फेसबुक पोस्ट में लिखा कि उसे मेरा अंतिम संस्कार करना था। मगर आज यानी 2 मार्च को मैंने अपने बेटे का अंतिम संस्कार किया। बेटा निशांत छोड़कर चला गया है। अब मेरा जीवन खत्म हो गया है।

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