तीन माह में 17 गर्भवती महिलाओं की मौत

सोलंकी, देवास। प्रदेश सहित जिले में मातृ मृत्यु दर को कम करने के लिए कई योजना व कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं, लक्ष्य कार्यक्रम चला प्रसूताओं को बेहतर सेवाएं देने का दावा किया जा रहा है, लेकिन फिर भी जिले में तीन माह में 17 गर्भवतियों की जान चली गई।

इसमें कुछ महिलाओं की प्रसव से पहले ही मौत हो गई। जबकि ज्यादातर महिलाओं ने डिलीवरी के बाद दम तोड़ दिया है। सबसे बड़ी चिंता की बात है कि 12 प्रसूताओं ने अस्पतालों में दम तोड़ा। इसमें जिले की 11 गर्भवती की एमवाय हास्पिटल में मौत हुई।

अब स्वास्थ्य विभाग मौतों का कारण ढूंढने में लगा है। मौतों को लेकर सीएमएचओ ने समीक्षा बैठक भी की है। विशेषज्ञों का मानना है कि ज्यादातर मातृ मृत्यु हाई रिस्क श्रेणी में जाने से होती है। समय पर प्रूसता की जांच नहीं होने से वे सीवियर एनीमिया से पीड़ित हो जाती है और प्रसव के दौरान मौत हो जाती है।

कोविडकाल से भी प्रसूताओं की जांच भी प्रभावित हुई है, क्योंकि अप्रैल और मई में जिले में कोविड संक्रमण ज्यादा था, जिससे वे जांच के लिए अस्पताल नहीं पहुंच सकी। वहीं स्वास्थ्यकर्मियों की टीम भी प्रसूताओं तक नहीं पहुंच सकी। हालांकि विभाग मौतों के कारण ढूंढने के साथ ही लापरवाही बरने वालों पर कार्रवाई की तैयारियों में है।

Back to top button

Adblock Detected

Please consider supporting us by disabling your ad blocker