भूटान के वित्त मंत्री ने फेसबुक पोस्ट में कहा-हमने नहीं रोका भारत का पानी, भारत के किसान हमारे मित्र

भूटान द्वारा भारतीय सीमा पर असम में सिंचाई के लिए पानी छोड़ना बंद करने की खबरों में कोई सच्‍चाई नहीं है। इस मुद्दे पर भूटान सरकार की ओर से सफाई दी गई है कि उनके देश से असम की ओर जाने वाले पानी की सप्‍लाई को रोका नहीं गया है, वो पहले की तरह ही जारी है। भूटान के वित्त मंत्री ने फेसबुक पोस्ट में कहा, ‘भूटान से भारतीय राज्य असम तक पानी रोका नहीं गया है। पानी का प्रवाह स्थानीय लोगों के साथ जारी है, ताकि सुनिश्चित किया जा सके कि सिंचाई के साधन उपलब्ध हैं। भारत के हमारे किसान मित्रों को दैफाम-उदलगुरी, समरंग-भंगातर, मोटोंगा-बोकाजुले और समद्रपोंगखार से पानी की निरंतर आपूर्ति की जा रही है।’

इससे पहले सूत्रों के हवाले से खबर आई कि भूटान की ओर से मरम्‍मत का काम चल रहा है, इसलिए पानी का सुचारू प्रवाह नहीं हो रहा है। सूत्रों ने बताया कि भूटानी पक्ष की ओर से इस मुद्दे पर कहा गया है कि उनकी ओर से पानी नहीं रोका गया है। दरअसल, असम में पानी के सुचारू प्रवाह को सुनिश्चित करने के लिए चैनलों में मरम्मत का काम किया जा रहा है।

क्‍या है मामला

गुरुवार को खबर आई कि चीन के दबाव में असम के करीब भूटान ने भारतीय सीमा पर सिंचाई के लिए पानी छोड़ना बंद कर दिया है। इससे सीमावर्ती 25 गांवों के हजारों किसानों पर संकट आ गया है। गुवाहाटी में सूत्रों के अनुसार, धान की रोपाई के लिए मानव निर्मित सिंचाई प्रणाली ‘डोंग’ को बाधित किए जाने के खिलाफ किसानों ने विरोध प्रदर्शन किया है। सीमावर्ती क्षेत्र में भूटान और भारत के किसान इस सिंचाई प्रणाली का उपयोग वर्ष 1953 से करते आ रहे हैं। लेकिन थिंपू में भूटान सरकार के अखबार के संपादक तेंजिंग लांगसांग ने विवादित बयान देते हुए कहा कि भूटान ने भारत की ओर जाने वाले सिंचाई के सारे पानी को रोक लिया है। उन्होंने कई ट्वीट करते हुए कहा कि हर साल भूटान असम के किसानों को पानी का रुख मोड़ने देता था, ताकि वह सिंचाई के लिए कुछ पानी जुटा सकें। लेकिन अब सीमाएं सील कर दी गई हैं। इससे सीमावर्ती किसान घबरा गए, लेकिन अब बात साफ हो गई है।

Back to top button

Adblock Detected

Please consider supporting us by disabling your ad blocker