चक्रवाती तूफान का रूप ले रहा ‘दाना’, तटीय इलाकों से लोगों को निकालने का काम तेजी से जारी

बंगाल की खाड़ी के ऊपर बना निम्न दबाव अब चक्रवाती तूफान ‘दाना’ में तब्दील हो गया है। इसके बाद ओडिशा सरकार ने तटीय इलाकों से लोगों को निकालने का काम तेज कर दिया है। राज्य के 14 जिलों के संवेदनशील इलाकों में 288 बचाव दल तैनात कर दिए गए हैं। अधिकारियों ने यह जानकारी दी है कि राज्य सरकार ने पहले ही 19 एनडीआरएफ की टीमें, 51 ओडिशा आपदा त्वरित कार्रवाई बल (ओडीआरएएफ) की टीमें और 178 अग्निशमन दल तैनात कर दिए हैं। इसके अलावा प्रभावित जिलों में 40 अतिरिक्त टीमें भी तैनात की गई हैं। बुधवार सुबह भारतीय वायुसेना की दो विमानों के जरिए 150 एनडीआरएफ कर्मी राहत सामग्री के साथ भुवनेश्वर पहुंचे हैं।

बता दें कि अलर्ट पर रखे गए जिलों में अंगुल, पुरी, नयागढ़, खोरधा, कटक, जगतसिंहपुर, केंद्रपाड़ा, जाजपुर, भद्रक, बालासोर, क्योंझर, ढेंकनाल, गंजम और मयूरभंज शामिल हैं। एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया, “राज्य ने 14 जिलों में 3,000 से अधिक संवेदनशील स्थानों (गांवों) की पहचान की है और निकासी प्रक्रिया शुरू कर दी है। शुक्रवार की सुबह चक्रवात दाना के आने से पहले लगभग 10 लाख से ज्यादा लोगों को निकाले जाने की संभावना है।” वहीं IMD के मुताबिक बंगाल की खाड़ी के पूर्व-मध्य में बना निम्न दबाव 18 किलोमीटर प्रति घंटे की गति से पश्चिम-उत्तर-पश्चिम की ओर बढ़ते हुए चक्रवाती तूफान ‘दाना’ में तब्दील हो गया है जो सुबह 5:30 बजे पारादीप (ओडिशा) से लगभग 560 किलोमीटर दक्षिण-पूर्व और सागर द्वीप (पश्चिम बंगाल) से 630 किलोमीटर दक्षिण-दक्षिणपूर्व में केंद्रित था।

मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि इसके उत्तर-पश्चिम की ओर बढ़ने और 24 अक्टूबर की सुबह तक बंगाल की खाड़ी के उत्तर-पश्चिम में एक खतरनाक चक्रवाती तूफान में तब्दील होने की संभावना है जो 24 अक्टूबर की रात से 25 अक्टूबर की सुबह तक पुरी और सागर द्वीप के बीच उत्तर ओडिशा और पश्चिम बंगाल के तटों से टकराएगी। हवा की गति 100-110 किलोमीटर प्रति घंटे तक पहुंचने की उम्मीद है जो 120 किलोमीटर प्रति घंटे तक बढ़ सकती है।” IMD ने चेतावनी दी है कि चक्रवात ‘दाना’ की वजह से ओडिशा में भारी बारिश की संभावना है।

23 अक्टूबर की शाम से तेज हवाएं चलने की संभावना है। 24 अक्टूबर की सुबह तक हवा की गति धीरे-धीरे बढ़कर 80 किमी/घंटा हो जाएगी और 24 अक्टूबर की रात से 25 अक्टूबर की सुबह तक 120 किमी/घंटा तक पहुंच सकती है। आईएमडी ने चक्रवात के गुजरने तक बंगाल की खाड़ी में मछली पकड़ने सहित सभी समुद्री गतिविधियों पर रोक लगा दी है। ओडिशा के राजस्व और आपदा प्रबंधन मंत्री सुरेश पुजारी ने कहा, “मंगलवार शाम तक सभी मछुआरे तट पर लौट आए।” सुरेश पुजारी ने लोगों से प्रशासन के साथ सहयोग करने और बुधवार शाम तक राहत शिविरों में चले जाने की अपील की है। ​​उन्होंने कहा, “हमने शिविरों में भोजन, पीने का पानी, शिशु आहार और महिला पुलिस जैसी सभी व्यवस्थाएं की हैं।” उन्होंने कहा कि चक्रवात के तट पार करने से पहले अनुमानित 10 लाख लोगों को बाहर निकालने की उम्मीद है।”

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