उत्तराखंड: सीमा क्षेत्र का अंतिम गांव के मलारी-नीती हाईवे पर तीन फीट बर्फ हुई जमा, ग्रामीणों की बढ़ी परेशानी

चमोली में चीन सीमा क्षेत्र का अंतिम गांव नीती इन दिनों बर्फ से ढका हुआ है। नीती गांव में बर्फबारी से हुए नुकसान का निरीक्षण करने जा रहे भोटिया जनजाति के ग्रामीण फरकिया गांव से ही लौट आए। गांव से आगे मलारी-नीती हाईवे पर करीब तीन फीट बर्फ जमा है।

ग्रामीणों ने बताया, फरकिया गांव से आगे नीती हाईवे बर्फ से ढका है, जबकि मकानों में बर्फ जमा है। वहीं, मलारी में अभी करीब दो फीट तक बर्फ जमा है। सोमवार को नीती गांव में बर्फबारी से हुए नुकसान का जायजा लेने जा रहे भोटिया जनजाति के ग्रामीणों को फरकिया गांव से ही लौटना पड़ा।

कागा गांव के ग्राम प्रधान पुष्कर सिंह राणा ने बताया, फरकिया गांव से आगे हाईवे पर करीब तीन फीट बर्फ जमा है, जिससे नीती गांव तक वाहन नहीं जा पा रहे हैं। बीआरओ की ओर से यहां बर्फ हटाने का काम किया जा रहा है। वहीं, काली मंदिर और भापकुंड के पास हाईवे पर हिमखंड पसरे हैं, लेकिन हिमखंड काटकर बीआरओ ने हाईवे खोल है।

कहा, नीती घाटी के ग्रामीण सर्दियों में जिले के निचले क्षेत्रों में निवास करते हैं, जबकि ग्रीष्मकाल के लिए अप्रैल माह में अपने पैतृक गांवों में पहुंच जाते हैं, लेकिन इस बार घाटी में अधिक बर्फबारी होने से ग्रामीणों को दिक्कतें उठानी पड़ सकती हैं।

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