ED ने 1800 पन्नों का महादेव सट्टा मामले में परिवाद किया दर्ज, कई नए नाम हुए शामिल
महादेव ऑनलाइन सट्टा को लकेर लगातार ईडी पूछताछ, गिरफ्तारी और समन भेजने का काम कर रही थी। इस बीच सट्टाबाजी ऐप के मामले को लेकर ईडी ने कोर्ट में परिवाद पेश कर दिया गया है। ईडी के द्वारा रायपुर कोर्ट में परिवार पेश करते हुए मामले में लगभग 1800 पन्नों की जानकारी दी गई गई है। कोर्ट में पेश किए गए परिवाद के अनुसार कई नए नाम शामिल किए गए है। इसके साथ ही यह भी माना जा रहा है कि दुबई में इंटरपोल की कैद में महादेव सट्टा के संचालक सौरभ चंद्राकर और रवि उप्पल को जल्द भारत लाने की तैयारी भी की जा सकती है।
बतादें कि महादेव सट्टा ऐप के मुख्य आरोपी और इस पूरे सट्टा के संचालक सौरभ और रवि उप्पल को इंटरपोल रेड कॉर्नर नोटिस के आधार पर गिरफ्तार किया चुका है। अब कोर्ट में दर्ज परिवाद के आधार पर दोनों ही आरोपियों को प्रत्यर्पण को लेकर सभी दस्तावेज दुबई से साझा किए जाएंगे। वही दुबई में अब तक दोनों की गिरफ्तारी के बाद उनकी सभी प्रकार की गतिविधियों पर रोक लगाई भी जा चुकी है।
कथित पूर्व सीएम को पैसे देने की बात करने वाले शुभम का भी नाम
छत्तीसगढ़ में ईडी ने जब महादेव सट्टा ऐप मामले को लेकर पहली बार 21 अक्टूबर को रायपुर कोर्ट में परिवाद दर्ज कराया था उसमें 14 लोगों के नाम शामिल किया था। जिसके बाद साल 2024 के शुरूआत के साथ ही 1 जनवरी को ईडी के द्वारा कोर्ट में 1800 पन्नों का परिवाद दर्ज किया है। जिसमें से सौरभ चंद्राकर, रवि उप्पल का नाम परिवाद में दर्ज था। इस बार अनिल कुमार अग्रवाल,रोहित गुलाटी, असीम दास, भीम सिंह यादव के साथ एक नाम और शुभम सोनी का जुड़ गया है।
इससे पहले शुभम का नाम का जिक्र पहले के परिवाद में नहीं आया था। लेकिन छत्तीसगढ़ के कथित पूर्व सीएम को 508 करोड़ देने की बात कहने का एक वीडिओ वायरल होने के बाद शुभम सोनी की चर्चा तेजी हो रही थी। जिसके बाद ईडी ने अपने दूसरे परिवाद पर शुभम सोनी के नाम का जिक्र किया है। ईडी के वकील सौरभ पांडे के अनुसार आगामी 10 जनवरी को इस परिवाद पर कोर्ट के द्वारा संज्ञान लेने की उम्मीद है।
अब तक ईडी ने किए कुल 541.7 करोड़ सीज
महादेव सट्टा मामले को लेकर ईडी ने छत्तीसगढ़, मध्यप्रदेश, उत्तराखंड़, दिल्ली, महाराष्ट्र ,कोलकाता और बिहार में रेड की कार्यवाही में महादेव ऑनलाइन बुक से जुड़े सभी ऑर्गनाइजेशन से कुल 541.7 करोड़ की संपत्ती जब्त की है। जसमें सभी आरोपित की अलग-अलग भूमिका रही है। चंद्रभूषण वर्मा छत्तीसगढ़ में महादेव सट्टा का चीफ लाईजनर था। सतीश चंद्राकर महादेव पैनल को ऑपरेट करता था, तो वही रवी उप्पल, अनिल दम्मानी और सुनीद दम्मानी पूरे पैसे को कहां कैसे लेकर जाना है वह काम देखते थे।
दम्मानी बद्रर्स के द्वारा ज्यादकर पैसे के हवाला के काम किया करते थे। इसके साथ ही पेश इस चार्जशीट में रवि उप्पल के भाई रोहित उप्पल के नाम का जिक्र भी किया गया है। रवि अपने भाई रवि के कहने पर पैसे को हवाला कराने का काम करता था। 59 करोड़, 37 करोड़, 43 करोड़ जैसी की बड़ी रकम सौरभ और रवि के भाई के माध्यम से इधर से उधर कराने का काम किया गया है।