शिवराज के गढ़ में क्लीन स्विप, तोमर-सिंधिया के इलाके में करारी शिकस्त, MP नगर परिषद परिणाम के हैं बड़े सियासी मायने

मध्य प्रदेश निकाय चुनावों के परिणाम इस बार तमाम सियासी समीकरणों को धता बता गए। 11 नगर निगमों के नतीजे जब सार्वजनिक हुए तो उनमें से 3 कांग्रेस और एक आम आदमी पार्टी के खाते में गए। वहीं बीजेपी को 7 सीटें मिली। भजे ही बीजेपी ने भोपाल, उज्जैन, इंदौर समेत 7 नगर निगम पर कब्जा कर लिया हो लेकिन पार्टी को ग्वालियर में बड़ा जख्म मिला है। जहां पार्टी 57 साल बाद हारी है और कांग्रेस की जीत हुई है। ग्वालियर की उम्मीदवार के पक्ष में शिवराज और सिंधिया ने खूब प्रचार किया लेकिन फिर भी पार्टी प्रत्याशी को नहीं हरा सके। दो दिन पहले सत्तारूढ़ भाजपा को तब बड़ा झटका लगा जब उसने ग्वालियर नगर निगम को गंवा दिया। जहां वह 50 वर्षों से सत्ता में थी।

सिंधिया के गढ़ में भगवा खेमा को मिली हार से की चर्चा ज्यादा ही रही है। जब बुधवार को ग्वालियर-चंबल क्षेत्र के एकमात्र नगर निगम मुरैना को हार गया। ग्वालियर में कांग्रेस ने इतिहास रच दिया और पिछले पांच दशकों के बाद इस शहर पर पार्टी ने परचम लहराया। कांग्रेस की शोभा शिकरवार ने यहां से शानदार सफलता हासिल की है। शोभा सिकरवार ने बीजेपी उम्मीदवार सुमन शर्मा को करारी शिकस्त दी है। कांग्रेस से बगावत के बाद ज्योतारादित्य सिंधिया जब भाजपा कैंप में आए तो उनके साथ कांग्रेस के विधायक मुन्ना लाल गोयल ने भी पाला बदल लिया था। उपचुनाव में भाजपा ने सिंधिया के करीबी मुन्ना को उम्मीदवार बनाया। इससे नाराज होकर भाजपा के पुराने नेता सतीश सिकरवार कांग्रेस में शामिल हो गए थे। कहा जा रहा है कि जब वह कांग्रेस में शामिल हुए तो बड़ी संख्या में ये कार्यकर्ता उनके साथ हो लिए।

तोमर का किला भी ढहा 

केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर के संसदीय क्षेत्र मुरैना में बीजेपी को हार का सामना करना पड़ा है। यहां कांग्रेस की शारदा सोलंकी ने जीत दर्ज की है। रीवा में कांग्रेस के उम्मीदवार अजय मिश्रा बाबा ने बीजेपी के प्रमोद व्यास को हराया। इससे पहले ये सीट बीजेपी के पास थी। 

शिवराज के गढ़ में कांग्रेस का सफाया

मध्य प्रदेश के निकाय चुनाव में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के गढ़ में कांग्रेस का सफाया हो गया है। सीहोर जिले की बुधनी विधानसभा की रहटी, बुधनी, नसरुल्लागंज नगर परिषद में बीजेपी ने परचम फहरा दिया, जबकि कांग्रेस को निराशा हाथ लगी है। बुधनी, नसरुल्लागंज और रहटी नगर परिषद में कुल मिलाकर 45 वार्ड हैं। इनमें से मात्र 2 वार्ड में ही कांग्रेस को सफलता मिली है, जबकि बीजेपी ने ऐतिहासिक प्रदर्शन किया है। मुख्यमंत्री के विधानसभा क्षेत्र में हुई बीजेपी की ऐतिहासिक जीत पर बीजेपी के कार्यकर्ता और नेता काफी उत्साहित हैं।

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