ज्ञानवापी मस्जिद के वजूखाना में गंदगी फैलाने की याचिका की सुनवाई 27 तक टली

दिल्ली:  ज्ञानवापी मस्जिद के वजूखाना में गंदगी फैलाने और भड़काऊ बयान देने पर मुकदमा दर्ज कराने की मांग से जुड़ी याचिका पर सुनवाई 27 जून तक टल गई है। इस याचिका में अंजुमन इंतजामिया कमेटी के साथ शहर मुफ्ती, सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव और एआईएमआईएम के अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी आदि पर केस दर्ज कराने की मांग की गई है। वहीं, उपासना स्थल अधिनियम के उल्लंघन के संबंध में मंगलवार को जिला जज की अदालत में रीविजन अर्जी दाखिल की गई। इसकी सुनवाई की ग्राह्यता पर कोर्ट 23 जून को फैसला सुनाएगी। यह अर्जी शृंगार गौरी प्रकरण में वादी राखी सिंह के पैरोकार जितेन्द्र सिंह बिसेन ने दी है।

उल्लेखनीय है कि वरिष्ठ अधिवक्ता हरिशंकर पांडेय ने वुजूखाना में गंदगी करने वाले नमाजियों के खिलाफ कार्रवाई के लिए एसीजेएम-पंचम उज्ज्वल उपाध्याय की अदालत में याचिका दायर की थी मगर मंगलवार को न्यायिक मजिस्ट्रेट के अवकाश पर रहने के कारण याचिका एसीजेएम-तृतीय नितेश सिन्हा की अदालत में पेश की गई। वादी अधिवक्ता ने याचिका में कहा है कि विगत छह मई को ज्ञानवापी मस्जिद के सर्वे के दौरान वहां मौजूद नमाजियों ने वुजूखाना में हाथ-पैर धोए जबकि वह हमारे आराध्य भगवान शिव का स्थान है। वहीं, अखिलेश यादव व ओवैसी के बयानों से हिंदुओं की भावनाओं पर कुठाराघात हुआ है। उन्होंने कमीशन कार्यवाही के विरोध, बाधा पहुंचाने और वजूखाने में गंदगी फैलाने के आरोप में धारा 156 (3) के तहत सभी आरोपितों पर मुकदमा दर्ज कराने की मांग की है।

मंगलवार को वादी हरिशंकर पांडेय ने सुप्रीमकोर्ट के अधिवक्ता रविप्रकाश शुक्ला, ध्रुव शुक्ला, अजय प्रताप सिंह, घनश्याम मिश्र, साधना सिंह के जरिए मामला एसीजेएम तृतीय की कोर्ट में पेश किया। अधिवक्ता रविप्रकाश शुक्ला ने कोर्ट से कहा कि सीआरपीसी की धारा-177 में प्रावधान है कि जो अधिकार विशेष कोर्ट को है, वह लिंक कोर्ट को भी है। इसलिए वह इस मामले को सुनें। अदालत ने कहा कि मामला स्थानांतरित होकर आता तब हम सुनवाई करते। यह प्रकरण अदालत के अवकाश पर रहने के कारण हमारे सामने आया है। इसलिए सम्बंधित एसीजेएम पंचम की अदालत ही सुनवाई करेगी। कोर्ट ने यह भी कहा कि मामला सांसद व विधायक से जुड़ा है। ऐसे में गठित विशेष कोर्ट ही पोषणीयता के मुद्दे पर सुनेगी। इस पर अधिवक्ता ने कहा कि 156 (3) के आवेदन पर अपराध का संज्ञान लेकर सम्बंधित थाने से रिपोर्ट मंगाने के संबंध में सुप्रीमकोर्ट का निर्णय भी है। कोर्ट पोषणीयता के मुद्दे पर मामले को अनावश्यक विलंबित कर रही है। लेकिन एसीजेएम-तृतीय ने अवकाश के बाद कोर्ट के आने पर सुनवाई की अगली तिथि 27 जून नियत कर दी।

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