मन के हारे हार, मन के जीते जीत ,हमारी संकल्प शक्ति ही हमारा मार्गदर्शन करती है : PM मोदी

कोरोना वायरस के महासंकट के बीच आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इंडियन चैंबर ऑफ कॉमर्स (ICC) के विशेष कार्यक्रम को संबोधित किया। प्रधानमंत्री ने अपने भाषण की शुरुआत बंगाली भाषा में की, ये कार्यक्रम कोलकाता में हो रहा है।  प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस दौरान कहा कि 95 साल से ICC देश की सेवा कर रहा है। पीएम बोले कि आज के वक्त में देश का आत्मनिर्भर होना जरूरी है, दूसरे देशों पर अपनी निर्भरता कम करनी होगी।

आत्मनिर्भर भारत को लेकर प्रधानमंत्री ने कहा कि आज जो चीज़ें हमें विदेश से मंगवानी पड़ती है, हमें विचार करना होगा कि वो हमारे देश में कैसे बने और फिर कैसे हम उसका निर्यात करें।

पीएम ने कहा कि यही वक्त है कि लोकल के लिए वोकल हुआ जाए। आत्मनिर्भर भारत अभियान के तहत बड़े रिफॉर्म का ऐलान किया गया, अब उन्हें ज़मीन पर उतारा जा रहा है।

संबोधन में पीएम मोदी ने कहा कि लोकल प्रोडक्ट के लिए क्लस्टर के आधार पर मजबूती दी जा रही है। नॉर्थ ईस्ट को ऑर्गेनिक खेती का हब बनाए जाने की कोशिश है, ICC ठान ले तो इसकी ग्लोबल पहचान बना सकते हैं। PM ने कहा कि आज वक्त है जब कोलकाता फिर लीडर बने, क्योंकि कहा जाता है कि बंगाल जो आज सोचता है वो पूरा देश आगे करता है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि 5 साल बाद आपकी संस्था अपने सौ साल पूरे कर लेगी, 2022 में देश की आजादी के 75 साल पूरे होने जा रहे हैं। ऐसे में हर किसी के लिए यही वक्त है कि एक बड़ा संकल्प लिया जाए और आत्मनिर्भर भारत अभियान को संपूर्ण करने के लिए कुछ लक्ष्य तय किए जाएं।

PM मोदी ने कहा कि अपने गठन के बाद से ICC ने अब तक काफी कुछ देखा है और भारत की विकास यात्रा का हिस्सा रहे हैं। इस साल की बैठक ऐसे वक्त में हो रही है, जब देश कई मुश्किलों को झेल रहा है। आज देश में कोरोना वायरस है, टिड्डी की चुनौती हैं, कहीं आग लग जा रही है तो रोज भूकंप भी आ रहे हैं, इस बीच दो साइक्लोन भी आए हैं। कभी-कभी समय भी हमारी परीक्षा लेता है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि मन के हारे हार, मन के जीते जीत… हमारी संकल्प शक्ति ही हमारा आगे का मार्ग तय करती है। जो पहले ही हार मान लेता है, उसके सामने नए अवसर नज़र नहीं आते हैं ऐसे में जीत के लिए लगातार प्रयास करने वाला ही सफलता पाता है और नए अवसर आते हैं।

पीएम मोदी ने कहा कि इस वक्त मुसीबत की दवाई सिर्फ मजबूती है, मुश्किल वक्त में भारत हमेशा आगे बढ़कर सामने आया है. आज पूरी दुनिया ही इस संकट से लड़ रही है, कोरोना वॉरियर्स के साथ देश इस लड़ाई में पीछे नहीं है। प्रधानमंत्री ने कहा कि अब देशवासी के मन में संकल्प है कि आपदा को अवसर में बदलना है, इस संकट को देश का टर्निंग प्वाइंट बनाना है. आत्मनिर्भर भारत ही टर्निंग प्वाइंट है।

संबोधन में प्रधानमंत्री बोले कि आज देशवासियों के मन में एक काश है, काश हम मेडिकल के क्षेत्र में आत्मनिर्भर होते..काश हम डिफेंस के क्षेत्र में आत्मनिर्भर होते…काश हम सोलर पैनल के क्षेत्र में आत्मनिर्भर होते…ऐसे कई उदाहरण हैं जहां पर देश में काश घूम रहा है.

अगर इंडियन चैंबर ऑफ कॉमर्स की बात करें तो नई दिल्ली, मुंबई, हैदराबाद, भुवनेश्वर, रांची, गुवाहाटी, सिलीगुड़ी और अगरतला में क्षेत्रीय कार्यालयों के साथ कोलकाता में इसका मुख्यालय है। गौरतलब है कि कोरोना वायरस के महासंकट के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लगातार संबोधन दिया है। शुरुआत के दो लॉकडाउन का उन्होंने खुद ऐलान किया था, इसके अलावा मन की बात और अन्य कई कार्यक्रमों के जरिए वह लगातार अपनी बात रखते आए हैं।

कोरोना संकट के बीच अब जब अनलॉक की प्रक्रिया शुरू हुई है, इस बीच एक बार फिर अर्थव्यवस्था को खड़ा करने का संकट है।

सरकार की ओर से 20 लाख करोड़ के आर्थिक पैकेज का ऐलान किया गया है, साथ ही आत्मनिर्भर भारत का एक नया मंत्र भी फूंका गया है। ऐसे में सरकार किस तरह एक बार फिर अर्थव्यवस्था को लेकर आगे कदम बढ़ाती है, इन मसलों पर पीएम मोदी के भाषण पर नज़र है।

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