Pariksha pe Charcha 2020: पीएम मोदी ने कहा, चंद्रयान फेल हुआ तो मैं चैन से सो नहीं पाया

‘परीक्षा पे चर्चा’ कार्यक्रम की शुरुआत में पीएम मोदी ने कहा कि एक बार फिर आपका ये दोस्त आपके सामने हैं और मेरे और आपके बीच की ये बातचीत हैशटैग विदआउट फिल्टर है। कार्यक्रम में राजस्थान की यश श्री के पूछे सवाल के जवाब में पीएम मोदी ने कहा कि जीवन में शायद ही कोई ऐसा व्यक्ति हो, जिसे इस दौर से गुजरना न पड़ा हो। हर किसी को इस दौर से गुजरना पड़ता है। कभी-कभी विफलता हमें ऐसा कर देती है। 

इस संदर्भ में चंद्रयान मिशन का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि चंद्रयान की असफलता के कारण पूरा देश निराश हो गया। उन्होंने कहा, ‘चंद्रयान मिशन के अंतिम समय पर वैज्ञानिकों के चेहरे पर तनाव था। मैं उनके चेहरे को देखकर समझ गया कि कोई अनहोनी हो रही है। कुछ देर बाद बताया गया कि चंद्रयान सफल नहीं हुआ। मैं होटल आ गया,  सोने का मन नहीं किया। चंद्रयान फेल होने के बाद चैन से सो नहीं पा रहा था। टीम अपने अपने कमरे में चली गई। अगले दिन सुबह मैं सभी वैज्ञानिकों से मिला। उनकी सरहना की, इससे उनका मनोबल बढ़ा’। इससे पूरे देश का माहौल बदल गया। विफलताओं में भी सफलता की शिक्षा पा सकते हैं। किसी चीज में आप विफल रहे इसका मतलब है कि आप सफलता की ओर अग्रसर है। लेकिन रुक गए तो वहीं रह गए’।

‘परीक्षा पे चर्चा’ का तीसरे सत्र दिल्ली के तालकटोरा इनडोर स्टेडियम में आयोजित हो रहा है। इस कार्यक्रम में देशभर से करीब 2,000 छात्र भाग ले रहे हैं। इनमें से 1,050 छात्रों का चयन निबंध प्रतियोगिता के जरिए किया गया है। बताया जा रहा है कि इस कार्यक्रम में भाग लेने के लिए 2.6 लाख प्रविष्टियां देशभर से मिली हैं। पिछले साल करीब 1.4 लाख छात्रों की प्रविष्टियां देशभर से मिली थीं। महाराष्ट्र के 104 छात्रों को 20 जनवरी को होने वाले प्रधानमंत्री मोदी के कार्यक्रम परीक्षा पे चर्चा के लिए चुना गया है। इन छात्रों के साथ 13 शिक्षक भी रहेंगे। 

मोदी ने 2018 में आयोजित ऐसे सत्र में छात्रों के 10 प्रश्नों के उत्तर दिए थे और पिछले साल 16 सवाल लिए थे। पहले इस साल यह सत्र 16 जनवरी को होना था, लेकिन देशभर में विभिन्न त्योहारों की वजह से इसे टाल दिया गया।

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