बिहार: बालू घाटों पर दो घंटे भी बंद हुए कैमरे तो नपेंगे बंदोबस्तधारी, चालान भी बंद होगा
प्रदेश में बालू और पत्थर के अवैध खनन, परिवहन पर रोक सरकार की प्राथमिकता है। इसके बावजूद अवैध खनन और परिवहन की घटनाएं थम नहीं रहीं। अब सरकार ने सख्ती के लिए किए गए उपायों में एक कदम और जोड़ दिया है। सीसीटीवी कैमरे लगाए जाने के बाद अब कैमरा बंद होने पर बंदोबस्तधारी पर एक्शन होगा।
खान एवं भू-तत्व विभाग ने बालू घाटों पर लगे सीसीटीवी के बंद होने पर संबंधित बालू घाट बंदोबस्तधारी पर कार्रवाई करने के निर्देश जारी किए हैं।
खान एवं भू-तत्व विभाग ने सरकार के स्तर पर बंदोबस्त किए गए बालू घाटों से अवैध खनन पर अंकुश लगाने के लिए यह व्यवस्था बनाई है कि जिन बंदोबस्तधारी को घाट की बंदोबस्त मिलेगी उसे उक्त घाट पर निगरानी के लिए सीसीटीवी लगाना होगा।
घाटों पर लगे सीसीटीवी कमांड एंड कंट्रोल सेंटर से जुड़े होने चाहिए। इस व्यवस्था से कमांड सेंटर से घाटों की निरंतर निगरानी होती है।
बीते दिनों कई जिलों में सीसीटीवी थोड़े-थोड़े अंतराल पर बंद होने की सूचना कमांड सेंटर की ओर से विभाग को दी गई थी। कुछ जगहों से यह जानकारी भी सामने आई कि बालू घाट पर लगे कैमरे खराब हो गए हैं, वहीं कुछ जगहों पर कैमरे बंद भी हैं।
ऐसे मामले सामने आने के बाद खान एवं भू-तत्व विभाग के प्रधान सचिव के स्तर पर सहायक खनिज निदेशक और खनिज विकास पदाधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं। विभाग के इस आदेश के बाद अवैध खनन को रोकने में मदद मिलेगी।
खान एवं भू-तत्व विभाग के प्रधान सचिव ने जारी किए आदेश
- अब यदि घाट पर दो घंटे भी कैमरे बंद रहते हैं तो संबंधित बंदोबस्तधारी पर कार्रवाई करें।
- प्रधान सचिव ने यह निर्देश भी दिए कि बंदोबस्तधारी को पत्र के जरिए यह जानकारी भेज दें कि यदि दो घंटे भी कैमरे ऑफ पाए जाएंगे तो उनका चालान बंद कर दिया जाएगा।
- इसके साथ ही घटना की जानकारी संबंधित जिले के डीएम को भी भेजी जाएगी, ताकि बिना चालान बालू लदे वाहन का परिचालन नहीं हो।
- विभाग ने स्पष्ट किया है कि यदि कैमरे कुछ अंतराल के लिए बंद होते हैं तो ऑफ लाइन कैमरे से रिकार्डिंग की जाए।
- इसके बाद इसका वीडियो को पैन ड्राइव और सीडी में जिला खनन मुख्यालय में जमा करना होगा।
- विभाग ने कहा है कि इस नियम का कड़ाई से पालन किया जाए अन्यथा बंदोबस्तधारी पर कठोर कार्रवाई की जाएगी।