आनंद मोहन ने मनोज झा को बताया बीजेपी एजेंट, कही यह बात
आरजेडी सांसद मनोज झा के राज्यसभा में ‘ठाकुर का कुआं’ कविता पाठ पर सियासी घमासान जारी है। इस बीच पूर्व सांसद आनंद मोहन ने एक बार फिर मनोज झा पर बार फिर बड़ा हमला बोला है। आनंद मोहन ने दावा करते हुए कहा है कि मनोज झा बीजेपी के एजेंट हैं। साथ ही उन्होंने आरजेडी सांसद को फिटकरी झा तक कह दिया। आनंद मोहन ने कहा कि इनके (मनोज झा) बड़े पिताजी खुद को बहुत बड़ा समाजवादी कहते थे लेकिन जब कांग्रेस की सरकार बनी तो समाजवादी का चोगा उतार कर कांग्रेस में शामिल हो गए और मंत्री बन गए।
इससे पहले बुधवार को भी मनोज झा पर हमला बोलते हुए आनंद मोहन ने कहा था कि ‘अगर मैं राज्यसभा में होता तो राख से जीभ खींचकर आसन की तरफ उछाल देता, सभापति की ओर। आप इतने बड़े समाजवादी हो तो नाम के साथ ‘झा’ क्यों लगाते हो। आप पहले अपने अंदर के ब्राह्मण को मारो।
यह कहा था मनोज झा ने
महिला आरक्षण विधेयक पर राज्यसभा में बहस के दौरान सांसद प्रो. मनोज झा ने अपने संबोधन में ओम प्रकाश वाल्मीकि की कविता का संदर्भ देने से पहले कहा था कि इसमें प्रतीक है, वो किसी जाति विशेष के लिए नहीं है, क्योंकि सबके अंदर एक ठाकुर है, जो न्यायालय में बैठा हुआ है, विश्वविद्यालयों में बैठा हुआ है, संसद की दहलीज को चेक करता है। उन्होंने कहा कि वो ठाकुर मैं भी हूं, वो ठाकुर संसद में हैं, वो ठाकुर विश्वविद्यालयों में है, यह ठाकुर विधायिका को कंट्रोल करता है, इस ठाकुर को मारो, जो अंदर है।
इसके बाद उन्होंने कविता पढ़ी ‘चूल्हा मिट्टी का, मिट्टी तालाब की, तालाब ठाकुर का/ भूख रोटी की, रोटी बाजरे की, बाजरा खेत का, खेत ठाकुर का/बैल ठाकुर का, हल ठाकुर का, हल की मूठ पर हथेली अपनी, फसल ठाकुर की/ कुंआ ठाकुर का, पानी ठाकुर का, खेत-खलिहान ठाकुर के, गली-मोहल्ले ठाकुर के, फिर अपना क्या?’