कार्बेट के जंगल से आई बाढ़, 17 घंटे तक हाईवे पर वाहनों में फंसे रहे यात्री

बुधवार को हुई बारिश से पहले दिन शाम से लेकर दूसरे दिन सुबह तक कई वाहनों में यात्री रात भर फंसे रहे। पानी कम होने व मलबा हटने पर करीब 17 घंटे बाद वाहनों की आवाजाही शुरू हो पाई।

दोनों ओर करीब आठ किलोमीटर तक वाहन फंसे रहे। बुधवार दोपहर में जो बस चौखुटिया जा रही थी, वह गुरुवार सुबह आगे बढ़ पाई। दोपहर बाद से रात भर यात्री घने जंगल के बीच भूखे प्यासे वाहनों में फंसे रहे।

बड़े- बड़े पत्थरों के साथ हाईवे पर आया मलबा

रामनगर में बुधवार शाम चार बजे से कार्बेट के जंगल का पानी बाढ़ के रूप में धनगढ़ी व पनोद नाले में आ गया। दोनों नाले उफनाने से बड़े- बड़े पत्थरों के साथ मलबा भी हाईवे पर आ गया। इससे कुमाऊं व गढ़वाल से रामनगर व रामनगर से कुमाऊं व गढ़वाल जा रहे वाहनों के पहिये थम गए।

नाले उफनाने से दोनों ओर लंबा जाम लगता चला गया। रात तक नाले अपने रौद्र रूप में थे। जो वाहन जहां खड़ा हुआ वह सुबह नौ बजे तक वहीं खड़ा रहा। कई महिलाओं, बच्चों, पुरुष व बुजुर्गों को वाहनों के भीतर ही रात काटनी पड़ी। जो वाहन पीछे थे जाम की वजह से वह वहीं फंसे रहे। उन यात्रियों ने मोहान में रिश्तेदारों व इधर उधर होटल लेकर रात काटी।

मलबा आने से बड़े ट्रक, बस, कार व छोटा हाथी हाईवे पर ही मलबा में फंसे रहे। प्रशासन की टीम ने रात एक बजे जेसीबी लगाकर पनोद के समीप फंसे लोगों को रेस्क्यू कर रामनगर भेजा। सुबह आड़े तिरछे फंसे वाहनों की वजह से फिर जाम लग गया। जेसीबी से धनगढ़ी व पनोद में मलबा तो सुबह हट गया था। लेकिन जाम की वजह से सुबह नौ बजे से गाड़ी रेंग रेंग कर आगे बढ़ती रही।

कई वाहन मलबे में फंसने से हुए खराब

धनगढ़ी व पनोद नाला क्या उफनाया वाहन सवार लोगों के लिए संकट खड़ा हो गया। पानी के साथ आया मलबा में काफी वाहन फंस गए। जिसमें कार, बाइक, छोटा हाथी, पिकअप वाहन सबसे ज्यादा थे। इससे काफी वाहनों को नुकसान भी हुआ है।

भूख मिटाने को दुकानों में बिस्किट नहीं मिले

आलम यह था कि मोहान में फंसे वाहन सवार कई यात्री भूखे ही रहे। मोहान में मेडिकल स्टोर चलाने वाले राकेश कुमार बताते हैं कि वाहन फंसने से लोग भूखे रहे। लोगों को दुकानों में बिस्किट तक नहीं मिले। क्योंकि सभी दुकानों में कुछ ही देर में खाने पीने का सारा सामान ही खत्म हो गया था।

पहली बार यात्रियों ने देखी ऐसी परेशानी

नेशनल हाईवे 309 में धनगढ़ी व पनोद नाले की वजह से यात्रियों ने रात भर जो परेशानी उठाई वह उसे ताउम्र याद रखेंगे। लोगों ने पुल बनाने में देरी पर सरकार को भी खूब कोसा। लोगों का कहना है कि पहली बार यह रिकार्ड हो गया कि धनगढ़ी व पनोद से 17 घंटे तक मार्ग में लोग फंसे रहे।

आज से पहले इतना लंबा जाम और इतने ज्यादा लोग कभी नहीं फंसे। कई जगह पर मोबाइल के सिग्नल नहीं होने से लोगों का अपने स्वजन से संपर्क नहीं हो पाया। कई लोगों ने मीडिया कर्मियों को भी अपने स्वजन के बाबत फोन कर जानकारी लेने का प्रयास किया।

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