पिथौरागढ़ में भारी बारिश के बाद नदी में बनी झील, प्रशासन ने अलर्ट किया जारी…
आसमान से बरसात आफत बनती जा रही है। पिथौरागढ़ जिले में भारी बारिश के बाद नदी में झील बन गई है। प्रशासन अलर्ट मोड पर आ गया है। धारचूला से करीब 14 किमी दूर कूलागाड़ नदी में शुक्रवार शाम अतिवृष्टि के कारण आए मलबे से झील बन गई। इससे काली नदी के घाटी वाले क्षेत्रों के लिए भी खतरा पैदा हो गया है।
यहां कूलागाड़ पर बना बैली ब्रिज भी बहने की चर्चा देररात तक रही। हालांकि इसकी आधिकारित पुष्टि नहीं हो पाई। कुछ लोग बैली ब्रिज को सुरक्षित भी बताते रहे। शुक्रवार शाम क्षेत्र में भारी बारिश हुई। शाम लगभग 7.15 बजे कूलागाड़ के ऊपरी क्षेत्र में भारी बारिश के बाद यह नदी उफान पर आ गई।
चर्चा यह भी थी कि वहां चीन सीमा को जोड़ने वाला बैली ब्रिज बह गया। कूलागाड़ में बोल्डर और मलबा बहकर आने से वहां गाड़ का प्रवाह पूरी तरह से थम गया है। इससे यहां बनी कृत्रिम झील का स्तर लगातार बढ़ता जा रहा है।
यहां बनी झील का जलस्तर लगातार बढ़ने से काली नदी के किनारे बसे धारचूला, जौलजीबी, बलुवाकोट के साथ ही घाटी वाले क्षेत्रों को बड़ा नुकसान झेलना पड़ सकता है। जुम्मा के क्षेत्र पंचायत सदस्य एवं स्थानीय निवासी विशन सिंह धामी ने बताया कि कूलागाड़ में भारी मलबा आने से काली नदी का प्रवाह भी प्रभावित हो सकता है।
कूलागाड़ में कृत्रिम झील बन गई है। उन्होंने ही सबसे पहले प्रशासन को अतिवृष्टि की इस घटना की जानकारी दी। स्थानीय निवासी नंदन धामी ने कहा कि घटनास्थल तक पहुंचने की स्थिति नहीं है। आसपास पहाड़ों से लगातार बोल्डर गिर रहे हैं। नदी के साथ आ रहे भारी बोल्डरों के कारण लोगों को घरों में कंपन महसूस हो रहा है।
लगातार भारी बारिश से यहां लोग बुरी तरह से सहमे हुए हैं। इधर, प्रशासन की तरफ से मुनादी कराकर लोगों को सतर्क किया जा रहा है। प्रशासन ने नदी के किनारे नहीं जाने की चेतावनी जारी की है। क्षेत्र में बादल फटने की चर्चा भी उठी लेकिन फिलहाल आधिकारिक तौर पर इसकी पुष्टि नहीं हुई है।
लोगों को नदी किनारे की तरफ वाहन पार्क नहीं करने को कहा: कूलागाड़ नदी किनारे की तरफ लोगों से सड़क पर वाहन पार्क नहीं करने की चेतावनी जारी की गई। इस घटना की जानकारी के बाद यहां हर तरफ खलबली मची हुई है।
ऊपरी क्षेत्रों में लगातार भारी बारिश के बाद काली नदी का जल स्तर तेजी से बढ़ रहा है। ऐसे में नदी किनारे की आबादी दहशत में है। काली नदी का प्रचंड प्रवाह झूलाघाट में भी लोगों को डरा रहा है। लोगों को सतर्क रहने को कहा गया है।