WTC में मिली हार के बाद रोहित शर्मा की कप्तानी पर मंडराया खतरा, पढ़ें पूरी खबर…

लंदन: 2014 टी20 विश्व कप से आईसीसी टूर्नामेंट में चला आ रहा हार का क्रम भारतीय टीम का पीछा नहीं छोड़ रहा है। इन 10 वर्षों में नौ आईसीसी टूर्नामेंट में डंकन फ्लेचर, रवि शास्त्री, अनिल कुंबले और राहुल द्रविड़ कोच रहे। इन नौ आईसीसी टूर्नामेंट में महेंद्र सिंह धोनी, विराट कोहली और रोहित शर्मा जैसे दिग्गजों ने कप्तानी की, लेकिन नतीजा आर्यभट्ट की खोज यानी शून्य रहा।

रोहित की कप्तानी-

ओवल स्टेडियम में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ विश्व टेस्ट चैंपियनशिप (डब्ल्यूटीसी) फाइनल की हार ने फिर से सवाल उठा दिए हैं। समस्या हार नहीं है, लेकिन पिछले कुछ सालों में आईसीसी टूर्नामेंट के नॉकआउट चरण में टीम हारी है वह चिंता का विषय है। इस साल भारत को घर में वनडे विश्व कप खेलना है। मुख्य कोच राहुल द्रविड़ का कार्यकाल तभी तक है। उस टूर्नामेंट में टीम का परफॉर्मेंस रोहित शर्मा की कप्तानी का भविष्य भी तय करेगी।

टेस्ट कप्तानी पर भी खतरा-

पिछले साल हुए टी-20 विश्व कप के बाद से रोहित और विराट को आराम के नाम पर टीम में जगह नहीं दी गई है। इस दौरान हार्दिक ने कप्तानी की। वनडे विश्व कप तक रोहित की वनडे और टेस्ट कप्तानी को कोई खतरा नहीं है, लेकिन उसमें अगर हार मिलती है तो फिर बीसीसीआई को सोचने के लिए मजबूर होना पड़ेगा। बोर्ड जल्दी सख्त कदम उठाने से कतराता है, इसलिए अक्टूबर-नवंबर तक इंतजार करेगा।

2024 में टी20 विश्व कप-

विराट ने चार आईसीसी टूर्नामेंट में कप्तानी की, लेकिन एक भी खिताब नहीं जिता पाए। बोर्ड रोहित को तीन आईसीसी टूर्नामेंट में कप्तानी का मौका देना चाहता है। इसके बाद अगले साल वेस्टइंडीज-अमेरिका में टी-20 विश्व कप होना है, जिसमें हार्दिक पांड्या ही कप्तानी करेंगे। 2025 में होने वाले डब्ल्यूटीसी फाइनल तक रोहित का टेस्ट कप्तान बने रहना मुश्किल है। 2025 में पाकिस्तान में वनडे प्रारूप में होने वाली चैंपियंस ट्रॉफी के लिए भी बीसीसीआई को कप्तान खोजना होगा।

सचिन ने जताई नाराजगी-

इस हार के बाद सुनील गावस्कर से लेकर सचिन तेंदुलकर तक नाराज हैं। सचिन ने तो कह दिया कि भारत को मैच में बने रहने के लिए पहली पारी में बड़ा स्कोर खड़ा करना था, लेकिन वे ऐसा नहीं कर सके। भारतीय टीम के लिए कुछ अच्छे क्षण थे, लेकिन मैं अश्विन को अंतिम एकादश में शामिल नहीं करने के फैसले को पचा नहीं पा रहा हूं। वह इस समय दुनिया का नंबर एक टेस्ट गेंदबाज हैं। मैंने मैच से पहले ही कहा था कि कुशल स्पिनर हमेशा पिच से मिलने पर मदद के भरोसे नहीं रहता।

वह हवा, पिच की उछाल और अपनी विविधताओं का इस्तेमाल करता है। यह नहीं भूलना चाहिये कि ऑस्ट्रेलिया के पास शीर्ष आठ में बाएं हाथ के पांच बल्लेबाज थे। अश्विन ने डब्ल्यूटीसी के पिछले चक्र में 13 टेस्ट में 61 विकेट लिए थे।

पुजारा का जाना लगभग तय:

विराट, चेतेश्वर पुजारा और रोहित की तिकड़ी का टेस्ट भविष्य क्या है? पुजारा ने शायद अपना आखिरी टेस्ट खेल लिया है और रोहित अब शायद ही दोबारा इंग्लैंड में टेस्ट मैच खेल पाएं। डब्ल्यूटीसी फाइनल में तीसरे नंबर पर उतरे पुजारा बुरी तरह विफल रहे। रोहित ने पिछले डब्ल्यूटीसी चक्र में 11 टेस्ट में 42.11 की औसत से 758 रन बनाए। विदेश में उनका औसत 52.57 रहा जबकि भारत में उन्होंने 36.88 की औसत से रन बनाए, लेकिन 36 वर्ष के हो चुके रोहित एशेज सीरीज से शुरू हो रहे नए डब्ल्यूटीसी चक्र में कब तक खेल पाएंगे ये देखना होगा।

गिल के कप्तान बनने के आसार-

बीसीसीआई रोहित की जगह शुभमन गिल को कप्तान बनाकर उन्हें तैयार करने के बारे में सोच सकता है। यशस्वी जायसवाल को अभी इस प्रारूप में खुद को साबित करना होगा। भारत को 2024 की शुरुआत में इंग्लैंड की मेजबानी करनी है और फिर आस्ट्रेलिया जाना है। इसके बाद भारतीय टीम इंग्लैंड के दौरे पर भी जाएगी। भारत को अब भविष्य की तरफ देखना होगा।

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