फाइनेंस कर्मी पर धारधार हथियार से किया हमला, इलाज के बाद अस्पताल में मौत
फाइनेंस कर्मी की उपचार के दौरान मौत होने के बाद परिजनों और ग्रामीणों ने गंगनहर कोतवाली का घेराव किया। घेराव के बाद भारी पुलिस बल मौके पर पहुंचा। पुलिस ने गुस्साए लोगों को किसी तरह समझा बुझाकर कोतवाली से भेजा।
गंगनगर कोतवाली को माधोपुर निवासी बिंदर ने तहरीर देकर बताया था कि तीन अगस्त को 25 वर्षीय पुत्र पंकित काम पर जा रहा था। रास्ते में गांव के अंकित को छह युवक पीट रहे थे। पुत्र पंकित ने अंकित को बचाने का प्रयास किया तो हमलावरों ने पुत्र पंकित के हाथ और पेट पर चाकू से हमला किया था।
जिसमें पुत्र पंकित गंभीर रूप से घायल हो गया था। शोर शराबा होने पर आसपास के लोग जब मौके पर पहुंचे तो हमलावर मौका मिलने पर पुत्र पंकित और अंकित को जान से मारने की धमकी देकर फरार हो गए थे।
पुलिस ने अज्ञात छह हमलावरों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया था। गंभीर रूप से घायल पंकित का हायर सेंटर में उपचार जारी था। मामले में एक आरोपी ही गिरफ्तार हुआ था। बाकी पांच हमलावरों की गिरफ्तारी नहीं हुई थी।
पुलिस पर लापरवाही का आरोप लगाया
रविवार रात पंकित की उपचार के दौरान हायर सेंटर में मौत हो गई। जिसके बाद सोमवार सुबह पीड़ित परिवार के सैकड़ों लोगों ने कोतवाली को घेर लिया। पीड़ित परिवार ने कोतवाली पुलिस पर जांच में लापरवाही और फरार आरोपियों की गिरफ्तारी नहीं करने के आरोप लगाए। परिजनों का गुस्सा बढ़ता देखकर आसपास के थाने कोतवाली से फोर्स बुलाया गया।
जिसके बाद पुलिस ने किसी तरह पीड़ित परिजनों को समझा बुझाकर घर भेजा। इंस्पेक्टर ऐश्वर्य पाल ने बताया कि पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। मुकदमे के संबंध में अपडेट लिया जा रहा है, जिसके बाद आगे कार्रवाई की जाएगी।
हमले के दौरान 22 टांके लगे थे पंकित को
धारदार हथियार से गंभीर रूप से घायल होने के बाद प्राथमिक उपचार के बाद पंकित को हायर सेंटर रेफर कर दिया गया था। पंकित के हाथ, पेट और अन्य जगहों पर 22 टांके लगे थे। मृतक के पिता बिंदर ने बताया कि पुत्र को हायर सेंटर के लिए रेफर कर दिया गया था। पुत्र ऋषिकेश के एम्स अस्पताल में भर्ती था। जहां वेंटिलेटर पर भी पुत्र की हालत दिन-ब-दिन बिगड़ती जा रही है। पुलिस भी अस्पताल पहुंची थी। हालत गंभीर होने के कारण बयान नहीं हो पाए थे।