बॉम्बे HC ने 100 रुपये की रिश्वत लेने वाले डॉक्टर को बरी करते हुए कही यह बात

भ्रष्टाचार और रिश्वतखोरी के एक मामले में एक सरकारी चिकित्सा अधिकारी को बंबई उच्च न्यायालय ने बरी कर दिया है। कोर्ट ने डॉक्टर को बरी करते हुए कहा है कि वर्ष 2007 में डॉक्टर ने रिश्वत के रूप में 100 रुपये की राशि ली थी जोकि एक मामूली सी रिश्वत है। 

मंगलवार को जारी एकल पीठ के फैसले में न्यायमूर्ति जितेंद्र जैन ने चिकित्सा अधिकारी को मामूली मामला बताते हुए ट्रायल कोर्ट के फैसले को बरकरार रखा।

साल 2007 में, एल टी पिंगले नामक व्यक्ति ने महाराष्ट्र के पुणे जिले के पौड में एक ग्रामीण अस्पताल के चिकित्सा अधिकारी डॉ. अनिल शिंदे पर उनके भतीजे द्वारा कथित हमले के बाद उनकी चोटों को प्रमाणित करने के लिए 100 रुपये मांगने का आरोप लगाया था।

डॉक्टर पर चला Anti-Corruption Bureau के तहत मुकदमा

पिंगले ने भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (Anti-Corruption Bureau) से शिकायत की थी जिसने शिंदे को पकड़ने के लिए जाल बिछाया और बाद में उन्हें रंगे हाथों पकड़ लिया। डॉक्टर शिंदे पर भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के प्रावधानों के तहत मुकदमा चलाया गया।

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