महसा अमीनी का CT स्कैन सामने आया, क्या पुलिस की पिटाई से हुई थी मौत, पढ़ें रिपोर्ट
तेहरान : ईरान में हिजाब को लेकर हिरासत में ली गई छात्रा महसा अमीनी की मौत (Death of Mahsa Amini) के 12 दिन बीत जाने के बाद भी हालात काबू में नहीं आ सके हैं. मौत के बाद जगह-जगह हो रहे हिंसक प्रदर्शनों के बीच ईरान की सरकार ने अमीनी की मेडिकल रिपोर्ट साझा की है. ईरान के सरकारी मीडिया द्वारा साझा किये अमीनी के CT स्कैन में उसकी मौत के कारण बताने के साथ पश्चिमी देशों पर भी इस्लामिक देश में दंगे भड़काने के आरोप लगाए गए हैं.
क्या कहती है अमीनी की मेडिकल रिपोर्ट
ईरानी मीडिया के अनुसार फोरेंसिक डॉक्टरों को अमीनी की खोपड़ी या उसके शरीर में चोट लगने, सूजन या फ्रैक्चर के कोई संकेत नहीं मिले हैं. साथ ही तेहरान प्रांत में फॉरेंसिक मेडिसिन के महानिदेशक मेहदी फारुज़ेश ने कहा कि महसा अमीनी के शव परीक्षण से पता चला है कि युवती के आंतरिक अंगों में कोई रक्तस्राव नहीं हुआ था. CT स्कैन में भी अमीनी के शरीर पर कोई चोट के निशान न होने की बात कही गई है. हालांकि डॉक्टरों की टीम ने कहा कि फिलहाल अमीनी की मौत के स्पष्ट कारणों का पता लगाने में अधिक समय की जरूरत है.
2006 में हो चुकी थी मस्तिष्क की सर्जरी
तेहरान की मीडिया का दावा है कि अमीनी के मस्तिष्क की सर्जरी हो चुकी थी जिसकी वजह से हो सकता है कि वह एकाएक कोमा में चली गई हो. सरकार की ओर से जारी CCTV फुटेज में कहा गया है कि अमीनी और पुलिस अफसर में हिजाब को लेकर नोकझोंक के बाद युवती मौके पर बेहोश हो गई थी. आगे रिपोर्ट में कहा गया है कि बेहोश होने के बाद युवती के कोमा में चले जाने से उसकी मौत हो गई. ईरान के मुताबिक अमीनी की मौत का बहाना लेकर सऊदी और पश्चिमी देश माहौल खराब करने का प्रयास कर रहे हैं.
40 से अधिक लोगों की मौत
हिजाब के विरुद्ध लोगों में बढ़ रहे असंतोष के बाद भड़के प्रदर्शनों को रोकने के लिए पुलिस भारी बल का प्रयोग कर रही है. ईरान में जगह-जगह हो रहे हिजाब विरोधी प्रदर्शनों में कई महिलाएं हिजाब को आग लगाती हुई दिख रही हैं जिससे भड़की पुलिस लगातार प्रदर्शनकारियों पर आंसू गैस छोड़ रही है और फायरिंग कर रही है. सरकारी मीडिया के आंकड़ों के मुताबिक अब तक इन प्रदर्शनों में 41 लोग अपनी जान गंवा चुके हैं.
हालांकि कई स्वतंत्र संस्थाओं का अनुमान है कि पुलिस की गोलीबारी में कम से कम 50 लोग मारे जा चुके हैं. इन प्रदर्शनों में हदीस नजफी, गजाला चेलावी, हनाना किया और माहशा मोगोई की मौत सोशल मीडिया पर चर्चा का विषय बनी रही.