उच्च जोखिम वाली गर्भवती महिलाओं को किया चिन्हित
प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान में गर्भवती की जांचें हुई
प्रसव पूर्व पांच प्रमुख जांचों के साथ ही दवाएं प्रदान की गई
फोटो-09एचएमपी-5(हमीरपुर: सरीला सीएचसी में गर्भवती महिलाओं की जांच करती डा. रश्मि खरे)
हमीरपुर। प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के अंतर्गत सोमवार को जिला महिला अस्पताल, ब्लाक स्तरीय सामुदायिक और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में गर्भवती की प्रसव पूर्व पांचें जांचें कर परामर्श दिया गया।
जोखिम भरी गर्भावस्था (एचआरपी) से गुजरने वाली 32 गर्भवती को खानपान का ध्यान रखने और नियमित तौर पर चेकअप कराकर डॉक्टर के परामर्श पर दवाएं लेने की सलाह दी गई।
बतादें कि प्रत्येक माह की नौ तारीख को प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के तहत जिला महिला अस्पताल के साथ-साथ ब्लाक स्तरीय सामुदायिक और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में विशेष रूप से गर्भवती महिलाओं की जांच कर उन्हें परामर्श और दवाएं देने के साथ ही उनकी ब्लड, यूरिन, ब्लड प्रेशर की जांच करने के साथ ही वजन और अल्ट्रासाउंड किया जाता है।
सभी जांचें निरूशुल्क होती हैं। इसी क्रम में सोमवार को आयोजित हुए इस दिवस के मौके पर गर्भवती की जांचें की गई। ऐसी महिलाओं को आयरन, कैल्शियम की टैबलेट दी गई। कुछ महिलाओं को आयरन सुक्रोज भी चढ़ाया गया। जिला महिला अस्पताल में परिवार नियोजन सलाहकार निकिता ने महिलाओं की काउंसिलिंग की। डा. आशा सचान, डा. अंशू मिश्रा ने जांच करके महिलाओं को परामर्श दिया।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ.एके रावत ने बताया कि इस कार्यक्रम का उद्देश्य मातृ एवं शिशु मृत्यु दर में कमी लाना है। प्रसव पूर्व जांचों से जोखिम भरी गर्भावस्था के बारे में जानकारी मिल जाती है, इससे ऐसी महिलाओं की समय-समय पर काउंसिलिंग भी होती रहती है। ताकि उनका सुरक्षित तरीके से प्रसव कराया जा सके।
सीएमओ ने बताया कि आज कुल 789 महिलाओं की जांचें हुई, जिसमें 32 महिलाएं जोखिम भरी गर्भावस्था वाली मिली हैं। एनएचएम के डीपीएम सुरेंद्र साहू ने अर्बन पीएचसी लक्ष्मीबाई तिराहा, डीसीपीएम मंजरी गुप्ता ने सुमेरपुर पीएचसी और मौदहा सीएचसी और जिला मातृत्व स्वास्थ्य परामर्शदाता दीपक यादव ने जिला महिला अस्पताल में चल रहे इस अभियान का जायजा लिया। मुस्करा, सरीला, गोहांड, राठ सभी सीएचसी में गर्भवती की जांचें की गई।